एमपी के चुनावी रण में वादों की बयार चल रही है,,,,क्योकि विधानसभा चुनाव सर पर है अब ऐसे में एमपी के उस हिस्से का जिक्र भी जरूरी है, जिसका स्वर्णिम इतिहास रहा है.,,,इसके पन्नों पर जमी धूल को हटाने पर शौर्यगाथाएं उभरती हैं,,,,बुंदेलखंड सिर्फ अपने वीरता के इतिहास के लिए ही नहीं जाना जाता, बल्कि इसका राजनीतिक महत्व भी बेहद खास है,,,इसी राजनीतिक महत्व को ओपिनियन पोल के जरिए समझाने हम एक बार फिर आपके बीच हाजिर हुए है
भारत के मानचित्र में विशिष्ट पहचान लिए हुए आल्हा उदल की भूमि बुंदेलखंड जहां अभी भी वीरों की सौर्य गाथाएं गूंजती है,,,बुंदेलखंड मध्य भारत का एक ऐसा क्षेत्र है,,, जिसका विस्तार उत्तर प्रदेश और मध्य प्रदेश में भी है। बुन्देलखण्ड, विधेलखण्ड का अपभ्रंश है। ‘विंध्य’ और ‘इला’ से बना ‘विंध्येला’ अर्थात विंध्याचल पर्वत और उसकी श्रेणियों वाली भूमि यानी विंध्याचल पर्वत के आसपास वाली समग्र भूमि का नाम ‘विंध्येला’ था जो कालान्तर में क्रमशः ‘विंध्येलखण्ड’ व ‘बुन्देलखण्ड’ कहलाया,बुंदेलखंड में शासकों और वंशों के शासन का इतिहास होने के बावजूद भी इस क्षेत्र की अपनी समृद्ध ऐतिहासिक, सांस्कृतिक व सामाजिक पहचान को नकारा नहीं जा सकता।
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समय आगे निकलता गया और ये क्षेत्र विकास में पिछड़ता गया ,,,यहां पानी, पलायन और रोजगार जैसी बड़ी समस्या है,,, उत्तर प्रदेश से लगा हुआ होने के कारण इस इलाके में समाजवादी पार्टी और बहुजन समाज पार्टी का भी दमखम देखने को मिलता है इसी दरमियान 2023 के विधानसभा चुनाव में सभी राजनैतिक दल सक्रीय है बुंदेलखंड में कुल छह जिले हैं,, इसमें सागर, दमोह, टीकमगढ़, छतरपुर, पन्ना, निवाड़ी के नाम शामिल है इन छह जिलों में विधानसभा की कुल 26 सीटें हैं। इनमें अभी बीजेपी के 17 सीटों पर मौजूदा विधायक सत्ता काबिज है वहीँ कांग्रेस का सात पर और एक – एक सीट पर बीएसपी समाजवादी पार्टी का कब्जा है।
बुंदेलखंड में कुल 6 जिले
सागर, दमोह, टीकमगढ़
छतरपुर, पन्ना, निवाड़ी
विधानसभा की कुल 26 सीटें
17 पर बीजेपी, 7 पर कांग्रेस
1 सीट पर बीएसपी और सपा
अगर बात 2018 के विधानसभा चुनाव की करें तो बुंदेलखंड की 26 सीटों में से 17 बीजेपी ने और सात सीटें कांग्रेस ने जीती थी,,.यहां से समाजवादी पार्टी और बहुजन समाज पार्टी के खाते में भी एक-एक सीट आई थी.बाद में कमलनाथ सरकार का तख्तापलट होने के बाद अखिलेश यादव की समाजवादी पार्टी के विधायक राजेश शुक्ला ने बीजेपी का दामन थाम लिया था,जबकि बसपा की राम बाई अहिरवार ने अंतिम समय में बीजेपी खेमे में जाने से इनकार कर दिया था.
बात अब 2023 के चुनावी स्थिति की जाय तो बहुत से ऐसे सर्वे आ रहे है जिसमे बताया जा रहा है किस पार्टी को कितनी सीटें मिलने वाली है ,, ऐसे ही कुछ सर्वे प्रदेश तक आपके सामने लेकर आया है ,,पहला बात करेंगे ज़ी न्यूज़ के सी फॉर सर्वे की ,,
जी न्यूज़ के सुवे के मुताबिक बुंदेलखंड में 26 सीटें बताई गयी है जिसमे इंडियन नेशनल कांग्रेस यानी INC आगे है ,, जी हाँ कांग्रेस को 26 में से 17 से 19 सीटें मिलती दिख रही है वहीँ बीजेपी को मात्रा 6 से 8 सीटें मिल रही है वहीँ अन्य के खाते में 1 सीट जाते दिखाई दे रही है,, ये सर्वे अपने आप में बहुत कुछ कहता है क्योकि यह कांग्रेस मजबूत स्थिति में दिख रही है क्योकि बुंदेलखंड में बीजेपी का अच्छा होल्ड माना जाता है लकिन सर्वे स्थिति इसके विपरीत है।
ज़ी MP-CG-सी फॉर सर्वे का पोल
सर्वे के मुताबिक ‘बुंदेलखंड में 26 सीटें’
कांग्रेस को 17- 19 सीटें मिलने का अनुमान
बीजेपी के खाते में 06- 08 सीटें
टाइम्स नाउ नवभारत के ओपिनियन पोल की माने तो वोटर्स ने भारतीय जनता पार्टी को चुना है ,,,पोल में 26 सीटें बताई गयी है जिसमे बीजेपी के खाते में 13 से 15 सीटें जा रही है ,,कांग्रेस के पाले में 11 से 13 सीटें और अन्य को एक भी सीट नहीं मिल रही है
टाइम्स नाउ नवभारत का ओपिनियन पोल
बीजेपी के खाते में 13- 15 सीटें
कांग्रेस को मिलेगी 11- 13 सीटें
अन्य को एक भी सीट नहीं
2018 के विधानसभा चुनाव में बुंदेलखंड की जनता ने बीजेपी पर आंख मूंद कर भरोसा किया था वहीँ कांग्रेस भी सीटें बढ़ाने के लिए पूरा जोर लगा रही है,, बताते चलते है की इस बार के विधानसभा चुनाव में बीएसपी, सपा और भीम आर्मी काफी सक्रिय है,,, ये छोटे दल दोनों मुख्य पार्टियों के कई सीटों पर वोट काट भी सकते है ,, बरहाल बुंदेलखंड में एक ही मुद्दा है जो चुनाव की दिशा तय करेगा वो है पलायन और रोजगार का ,,, बस बुंदेलखंड के लोगों को इन्तजार है ऐसी सरकार का जो केवल अपनी झोली ही न भरते रहे बल्कि जनता की भी सुने।