Pandhurna/संवाददाता गुड्डू कावले पांढुरना:- तहसील की ग्राम पंचायत पलासपानी अन्तर्गत ग्राम नौनछापर आदिवासी अंचल में पक्की सड़कों के अभाव में यह ग्राम विकास की धारा से कोषो दूर है। जैसे शिक्षा-स्वास्थ्य सुविधाएं के लिए ग्रामीण परेशान है। यहा ग्रामीणों को राशन लाने के लिए दस से पन्द्रह किलोमीटर कच्ची उबड़-खाबड़ रास्ते से आना जाना पड़ता है। सबसे बड़ी समस्या बिमार व्यक्ति-गर्भवती महिलाओं को स्वास्थ्य सुविधा के लिए बेलगाड़ी से अस्पताल तक पहुंचाना मजबूरी बना हुआ है। बारिश के समय यह ग्राम टापू बन जाता है।बहती कन्हान नदी नालो से ग्राम घिरा नजर आता है।कच्चा रास्ता हमेंशा दुर्घटना को आमंत्रण देता है।पक्की सड़क नहीं होने से ग्राम के सभी छात्र/छात्राओं का प्रायमरी शिक्षा अध्यन के बाद पढ़ाई लिखाई छोड़ ने को मजबूर है।सड़क निर्माण के लिए शासन प्रशासन को अनेकों बार आवेदन देने के बाद भी आज दिनांक तक शासन प्रशासन द्वारा किसी भी प्रकार की ठोस पहल नहीं करना, ग्रामवासियों की सुध नहीं लेना बड़ा प्रश्न। चिन्ह खड़ा करता है।
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ग्रामीणों ने जिला कलेक्टर को सौंपा ज्ञापन
ग्राम नौनछापर ग्रामवासियों ने जिला पंचायत सदस्य ललिता कुमारे,शक्ति केन्द्र प्रभारी बाजीराव देशमुख,आदिवासी नेता दुर्गेश उईके के नेतृत्व में हस्ताक्षर युक्त ज्ञापन कलेक्टर अजय देव शर्मा को ज्ञापन सौंपा जिसमें छिंदबोह से नौनछापर होते हुए घोघरी ग्राम तक दस किलोमीटर पक्की सड़क निर्माण की मांग की ज्ञापन सौंपने रमेश खवसे,बीरबल रातिया,शिवराम शिलू,भारत शिलू,जयसिंग शिलू, दिलीप कोड़़ले,राजू शिलू,गोपी शिलू, प्रमोद बोसम,रामदास बेटे, परसराम शिलू,सुनील शिलू,चुन्नीलाल शिलू, हरिराम चंगरी,गोविंद भोसम, रामचंद्र बेटे,घनसराम भोसम,राजबती बेटे,नरेशबती बोसम,इन्दुबती शिलू, शामबती भोसम,रामकली चंगरी, सुनीता शिलू,रायबती शिलू, संतलाल शिलू आदि ग्रामीण उपस्थित थे।